Nov 11 2025 / 9:38 AM

टाटा और एयरबस मिलकर बनाएंगे C-295 एयरक्राफ्ट

नई दिल्ली। रक्षा मंत्रालय ने आज शुक्रवार को 56 सैन्य परिवहन विमानों के सौदे को अंतिम रूप दे दिया है। रक्षा मंत्रालय और एयरबस रक्षा और अंतरिक्ष स्पेन ने भारतीय वायु सेना के लिए 56 सी-295 विमानों की खरीद के लिए करार किया है। इसके तहत एयरबस की ओर से वायुसेना को 56 C-295 मीडियम ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट्स की सप्लाई की जाएगी।

सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति ने इस डील को 15 दिन पहले ही मंजूरी दे दी थी। अनुबंध पर हस्ताक्षर करने के 48 महीनों के भीतर स्पेन के एयरबस डिफेंस एंड स्पेस द्वारा उड़ान भरने की स्थिति वाले 16 विमान उपलब्ध कराए जाएंगे।

एयरबस की ओर से बनाए गए C-295 एयरक्राफ्ट भारतीय वायुसेना में अब तक शामिल रहे Avro-748 प्लेन्स की जगह लेंगे। एयरबस डिफेंस एंड स्पेस और टाटा अडवांस्ड सिस्टम्स लिमिटेड की ओर से संयुक्त रूप से इस प्रोजेक्ट पर काम किया जाएगा। मेक इन इंडिया के तहत इस प्रोजेक्ट पर काम होना है।

इस सौदे के तहत एयरबस की ओर से 16 एयरक्राफ्ट एकदम तैयार करके दिए जाएंगे। इसके अलावा बाकी 40 की असेंबलिंग भारत में टाटा की कंपनी करेगी। Avro-748 एयरक्राफ्ट्स को रिप्लेस करने के प्लान पर बीते एक दशक से काम चल रहा था, जिसे पर अब जाकर अमल हो सका है।

रक्षा अधिग्रहण परिषद की ओर से 2012 में ही 56 नए एयरक्राफ्ट्स को खरीदने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई थी। भारत में रक्षा उपकरणों की खरीद के लिए एक्सेप्टेंस ऑफ नेसेसिटी का प्रस्ताव काउंसिल के समक्ष भेजा जाता है। इस प्रस्ताव को मंजूरी मिलने के बाद ही आगे की प्रक्रिया शुरू की जाती है।

टाटा समूह मेक इन इंडिया प्रोजेक्ट के तहत सी 295 एयरबस विमानों का निर्माण करेगी। सैन्य परिवहन में इस्तेमाल होने वाले इन एयरबस को केंद्र सरकार ने अपनी अनुमति दे दी है। इस परियोजना के तहत इंडियन एयर फोर्स को 56 एयरबस मिलेंगे। जिसका भारतीय वायुसेना लंबे समय से इंतजार कर रही थी।

बता दें कि भारतीय वायुसेना के बेड़े में एवरो 848 मालवाहक विमान है जिसने अपनी पहली उड़ान वर्ष 1961 में यानि 60 साल पहले उड़ान भरी थी। ऐसे में केंद्र सरकार अपने पुराने सैन्य मालवाहक विमानों के स्थान पर सी 295 को लेकर आ रही है।

टाटा द्वारा तैयार किए जा रहे सी-295 एक बहु भूमिका परिवहन वाला विमान होगा। जिसकी अधिकतम पे लोड क्षमता 9.25 टन है। इस विमान की खासियत होगी कि यह छोटे रनवे वाले एयरपोर्ट पर भी आसानी से उतर व उड़ान भर सकता है।

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