होलिका दहन 2022: आजमाएं ये अचूक टोटके, दूर होगी हर तरह की परेशानियां
जैसे ही बसंत का महीना लगता है वैसे ही लोग रंगों का त्योहार होली का इंतजार करना शुरू कर देते हैं। हिंदू धर्म के प्रमुख त्योहारों में से एक होली का त्योहार लोगों के बीच न केवल प्रेम को बढ़ाता है बल्कि रिश्तों को रंगीन भी बनाता है। रंग खेलने से पहले दिन रात को होलिका दहन होता है। माना जाता है कि इस दिन हिरण्यकश्यप की बहन होलिका आग में जलकर मर गई थीं। इसलिए इस दिन होलिका दहन कर सभी बुराइयों को दूर किया जाता है।
होलिका दहन का शुभ मुहूर्त-
फाल्गुन पूर्णिमा 2022
पूर्णिमा तिथि प्रारम्भ मार्च 17,2022 को 13.30 बजे
पूर्णिमा तिथि समाप्त मार्च 18,2022 को 12.48 बजे
होलिका दहन मार्च 17,2022
होलिका दहन मुहूर्त -18:33 से 20:58′
होलिका दहन पर विभिन्न समस्याओं के लिए एक से अधिक विशेष उपाय कर सकते हैं। होली व दीवाली ऐसे विशेष अवसर हैं जब हर प्रकार की साधनाएं,तांत्रिक क्रियाएं तथा छोटे छोटे उपाय भी सार्थक हो जाते हैं। ये सभी उपाय होलिका दहन में किए जाते हैं। आप अपने इलाके में पहले से ही देखकर रखें कि होलिका किस मंदिर में पूरे अनुष्ठान से प्रज्जवलित की जाएगी ,वहां निर्धारित समय पर पहुंच जाएं और अपनी समस्याओं के अनुसार उपाय करें।
- यदि कोई बहुत बीमार है या दवा नहीं लग रही तो एक मुट्ठी पीली सरसों,एक लौंग,काले तिल,एक छोटा टुकड़ा फिटकरी,एक सूखा नारियल लेकर उस पर 7 बार उल्टा घुमा के होलिका में दहन कर दें।
- दांपत्य जीवन में मिठास लाने के लिए रुई की 108 बात्तियां देसी घी में भिगोकर के होलिका में संबंध सुधार की अनुनय सहित एक एक करके परिक्रमा करते हुए डालें। यह उपाय माता -पिता अपने बच्चों, वर-वधु की फोटो पर घुमा कर भी कर सकते हैं।
- यदि आपको लगता है कि किसी ने आपके ऊपर तांत्रिक अभिचार किया हुआ है जिसके कारण आपकी प्रगति ठप्प हो गई है तो देसी घी में भीगे दो लौंग,एक बताशा,एक पान का पत्ता होलिका दहन में अर्पित करें। दूसरे दिन वहां की राख ला के शरीर पर मलें और नहा लें। तांत्रिक अभिचार दूर हो जाएगा।
